Union Minister Rajeev Chandrasekhar On Google Gemini AI Row, Said – Cant Get Away With Saying Sorry – सॉरी कहकर बच नहीं सकते…: जैमिनी AI विवाद के बाद केंद्रीय मंत्री ने दी चेतावनी 

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434jgflo rajeev chandrasekhar ndtv 650 Union Minister Rajeev Chandrasekhar On Google Gemini AI Row, Said - Cant Get Away With Saying Sorry - सॉरी कहकर बच नहीं सकते...: जैमिनी AI विवाद के बाद केंद्रीय मंत्री ने दी चेतावनी 

उन्होंने  “बिना किसी खुलासे या अस्वीकरण के” एक “बिना परीक्षण के प्लेटफार्म (जेमिनी चैटबॉट का जिक्र करते हुए)…” को रिलीज करने पर सवाल उठाया और कहा, “तो इसके परिणाम होंगे. तब बस यह कहना कि ‘…सॉरी, इसका परीक्षण नहीं किया गया’ यह कानून के अनुपालन की हमारी अपेक्षाओं के अनुरूप नहीं है.”

उन्‍होंने एक ख़ास इंटरव्‍यू में कहा, “इन बड़े प्लेटफार्मों के बीच यह धारणा क्यों है कि वे लैब से कुछ ले सकते हैं और इसे बिना किसी सुरक्षा ढांचे के लॉन्च कर सकते हैं. यह अनुचित और अस्वीकार्य है, न केवल कानून बल्कि जिम्मेदारी और अनुशासन की भावना से भी.” 

चंद्रशेखर ने भारत में इंटरनेट उपयोगकर्ताओं के प्रति सरकार की “ईमानदार (और) गंभीर जिम्मेदारी” पर जोर दिया और कहा कि टेक कंपनियां “किसी समस्या से निकलने के लिए बात करके बच नहीं सकतीं.”

केंद्रीय मंत्री ने नए आईटी नियमों का हवाला दिया और कहा कि टेक कंपनियों को “अपने प्लेटफार्मों को इस तरह से इस्तेमाल करने की अनुमति नहीं देनी चाहिए जो गैरकानूनी सामग्री का उत्पादन करती है या देश के कानून का उल्लंघन करती है.” 

हालांकि उन्होंने यह नहीं बताया कि क्या सरकार वास्तव में कानूनी कार्रवाई करेगी. 

उन्होंने एनडीटीवी से कहा, “मेरा मानना ​​है कि मुकदमा चलाना सरकार का काम नहीं है, जितना उन यूजर्स का है, जिनके पास कार्रवाई का कारण है और जो गैरकानूनी सामग्री के प्रसार वाले मंच से पूर्वाग्रहग्रस्त हैं.”

उन्‍होंने कहा, “मैंने सुना है… ऐसे कई लोग हैं जो इस और अन्य प्लेटफार्मों के व्‍यवहार से काफी उत्तेजित हैं. उन्हें मेरा कहना है कि ‘सरकार कुछ चीजें कर सकती है या नहीं भी कर सकती है क्योंकि हमारे पास कानून के तहत सीमित शक्तियां हैं, यह व्यक्तियों या समूहों का काम है कि वे उन्हें जवाबदेह ठहराएं.”

चंद्रशेखर का यह बयान सरकार और गूगल के बीच जैमिनी द्वारा प्रधानमंत्री और उनकी नीतियों पर एक प्रश्न पर टूल की विवादास्पद प्रतिक्रिया के बाद आया है. जैमिनी जेनेरिक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस चैटबॉट है, जिसे पहले बार्ड कहा जाता था. 

आलोचना होने के बाद गूगल ने पिछले महीने ही यह माना था कि जैमिनी “समसामयिक घटनाओं और राजनीतिक विषयों से जुड़े संकेतों का जवाब देने में हमेशा भरोसेमंद नहीं हो सकता है.” साथ ही कहा कि था कि वह इस मुद्दे को हल करने के लिए काम कर रहा है. 

सुंदर पिचाई ने भी दी प्रतिक्रिया 

पीएम मोदी के कारण ही यह चैटबॉट विवादों में नहीं है. गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई ने पिछले सप्ताह कहा कि इसके कुछ टेक्स्ट और इमेज रेस्‍पोंस “पक्षपातपूर्ण” और “पूरी तरह से अस्वीकार्य” थे. ऐसा उस वक्‍त हुआ जब जैमिनी से अमेरिका के संस्थापकों को दिखाने के लिए कहा गया. उसने बड़ी गलती करते हुए सिख विरासत के एक व्यक्ति सहित विभिन्‍न लोगों की तस्‍वीरें तैयार की. 

कंपनी ने एक्स पर कहा, “हमें पता है कि जैमिनी ऐतिहासिक छवियों के निर्माण में गलतियां कर रहा है. हम इस तरह के चित्रण को तुरंत सुधारने के लिए काम कर रहे हैं.”

इन सभी चिंताओं के जवाब में इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय Google को एक नोटिस जारी कर सकता है. इससे पहले के बयानों में चंद्रशेखर ने कहा कि जैमिनी की प्रतिक्रियाएं “आईटी अधिनियम और आपराधिक संहिता के कई प्रावधानों का प्रत्यक्ष उल्लंघन थी.” 

इस बीच, पिछले सप्‍ताह मंत्रालय ने पिछले हफ्ते जारी एक एडवाइजरी में कहा था कि विकास के बीटा चरण में जेनरेटिव एआई या किसी भी एल्गोरिदम का उपयोग करके सॉफ्टवेयर के परीक्षण संस्करण को लॉन्च करने से पहले मंजूरी लेनी होगी. 

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