यूपी पुलिस की वर्दी का था शौक, फिजिकल टेस्ट के लिए पहुंचा तो हुआ शक, अधिकारी बोले- कितनी उम्र है तुम्हारी? बोला- 20 का हूं

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Mathura: उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले में पुलिस कांस्टेबल भर्ती मामले में फर्जीवाड़े का मामला सामने आया है, जहां जिले के धर्मपुरा निवासी एक व्यक्ति को यूपी पुलिस कांस्टेबल भर्ती के लिए डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन और फि…और पढ़ें

पुलिस की वर्दी का था शौक, टेस्ट के लिए पहुंचा तो अधिकारियों को हुआ शक, फिर....

पुलिस कांस्टेबल भर्ती में फर्जीवाड़े का मामला.

हाइलाइट्स

  • प्रदीप कुमार फर्जीवाड़े के आरोप में गिरफ्तार.
  • उम्र में हेराफेरी कर दो बार हाई स्कूल परीक्षा दी.
  • दो अलग-अलग जन्मतिथि वाले आधार कार्ड मिले.

मथुराः उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले में पुलिस कांस्टेबल भर्ती मामले में फर्जीवाड़े का मामला सामने आया है, जहां जिले के धर्मपुरा निवासी एक व्यक्ति को यूपी पुलिस कांस्टेबल भर्ती के लिए डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन और फिजिकल टेस्ट के दौरान उम्र के साथ फर्जीवाड़े के मामले में दोषी पाए जाने के बाद गिरफ्तार कर लिया गया. भर्ती के लिए निर्धारित आयु सीमा को पार कर चुके प्रदीप कुमार ने जो मानदंड तय किया गया था, उसको पूरा करने के लिए दो बार हाई स्कूल की परीक्षा देकर अपनी उम्र में हेराफेरी की.

जन्मतिथि से हुआ शक
मामले की जानकारी देते हुए डीसीपी मुख्यालय अली अब्बास ने कहा, ‘कांस्टेबल भर्ती परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले उम्मीदवारों के लिए डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन और फिजिकल टेस्ट पुलिस लाइन में आयोजित की जा रही है. गुरुवार को बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन में प्रदीप कुमार के रिकॉर्ड में गलतियां सामने आईं. उसके आवेदन में उसकी जन्मतिथि 5 जुलाई 2005 बताई गई थी, जबकि उसके ई-केवाईसी में 12 मई 1998 लिखा हुआ आया, जिसके चलते शक पैदा हुआ.’

फर्जी दस्तावेजों के साथ पुलिस कांस्टेबल की परीक्षा पास की
उसके सामान की तलाशी लेने पर अधिकारियों को एक मोबाइल फोन, अलग-अलग जन्मतिथि वाले दो आधार कार्ड, एक पैन कार्ड और अन्य दस्तावेज बरामद हुए. पूछताछ के दौरान, कुमार ने अपनी वास्तविक जन्मतिथि मई 1998 के साथ 2013 में हाई स्कूल परीक्षा उत्तीर्ण करने की बात स्वीकार की. कांस्टेबल भर्ती और अन्य परीक्षाओं को पास करने के लिए, वह 2020 में फिर से हाई स्कूल परीक्षा में शामिल हुआ. इस बार उसने अपनी बदली हुई जन्म तिथि यानी कि जुलाई 2005 का इस्तेमाल किया और फिर उसने फर्जी दस्तावेजों के साथ पुलिस कांस्टेबल भर्ती की लिखित परीक्षा पास कर ली.

क्या बोले अधिकारी?
सब-इंस्पेक्टर नवनीत गौड़ ने प्रदीप कुमार के खिलाफ धोखाधड़ी और उत्तर प्रदेश सार्वजनिक परीक्षा (अनुचित साधनों की रोकथाम) अधिनियम, 2024 की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया. वेरिफिकेशन प्रक्रिया के बारे में बताते हुए, डीसीपी अब्बास ने कहा, ‘सफल उम्मीदवारों के लिए सर्टिफिकेट वेरिफिकेशन और फिजिकल टेस्ट पुलिस लाइन में आयोजित किए जा रहे हैं. तीन बोर्ड, जिनमें पुलिस, स्वास्थ्य, शिक्षा और प्रशासनिक विभागों के अधिकारी शामिल हैं. पूरी प्रक्रिया की देखरेख करते हैं.’

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