किसने बनवाया था वाराणसी में संत रविदास का मंदिर? 52 साल में मिला अरबों का दान-ravidas-jayanti-who-built-temple-of-saint-ravidas-in-varanasi-donations-worth-billions-received-in-52-years – News18 हिंदी

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अभिषेक जायसवाल/वाराणसी : वाराणसी का संत रविदास मंदिर करोड़ो रैदासियों के आस्था का केंद्र है. संत रविदास की जन्मस्थली सीर गोवर्धन में उनका मंदिर है जो अब स्वर्ण मंदिर के नाम से भी जाना जाता है. संत रविदास के जयंती पर देश ही नहीं बल्कि दुनिया के अलग-अलग देशों से यहां श्रद्धालु आते हैं.आइए जानते है क्या है इस मंदिर का इतिहास और किसने इस मंदिर का निर्माण करवाया था.

जिस जगह पर संत रविदास का मंदिर है कहा जाता है कि इसी स्थान पर 647 साल पहले उनका जन्म हुआ था .ट्रस्ट से जुड़े निरंजन दास चीमा ने बताया कि रैदासियों के गुरु डेरा संत सरवन दास जी महाराज ने इस मौजूदा मंदिर का निर्माण कराया था. 1965 के आषाढ़ मास में इसकी नींव रखी गई थी और 7 साल बाद यानी 1972 में यह संत रविदास का यह मंदिर बनकर तैयार हुआ.

इन राज्यों से आते हैं भक्त
मंदिर निर्माण के बाद से ही संत रविदास के इस दर पर उनके जयंती के अवसर पर रैदासियों की भीड़ यहां लगने लगी. पंजाब, हरियाणा, हिमाचल समेत विदेशों में रहने वाले एनआरआई भक्त भी हर साल यहां आते हैं .इन भक्तों ने संत रविदास को अरबों रुपए दान भी दिया है.

इतनी है मंदिर की संपत्ति
जानकारी के अनुसार मौजूदा समय में संत रविदास मंदिर के पास करीब 300 किलो सोना है. इसमें सोने की पालकी, दीप, छतर, मुकुट, स्वर्ण कलश शामिल है. इसके अलावा मंदिर का शिखर भी स्वर्ण मंदिर जैसा बना हुआ है और दरवाजे पर भी सोना जड़ा गया है. इसके अलावा करोड़ो रुपए नगद भी हर साल भक्त इस मंदिर को दान में देते हैं.

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